प्रत्येक व्यक्ति के जीवन में तनाव की स्थिति तो आती है। जिसे हर व्यक्ति कम करने के प्रयास में लगा रहता है। परन्तु कोई भी अपने जीवन में आने वाले तनाव से पूरी तरह से निजात नहीं पा पाता है।
तनाव एक ऐसी समस्या है जो हर उम्र के लोगो को परेशान करती है। कभी कभी तनाव इतना बढ़ जाता है की लोगो को डॉक्टर तक से संपर्क करना पड़ता है। कई लोग तो इसके चलते डिप्रेशन का भी शिकार हो जाते है।
आपको बता दे की प्रार्थना करने से तनाव को कम किया जा सकता है। प्रार्थना में बहुत शक्ति होती है। यह तनाव जैसी समस्या को भी दूर कर सकती है। प्रार्थना करने से तनाव तो दूर होता ही है साथ ही मानसिक शांति भी मिलती है।
प्रार्थना से मिलने वाले फ़ायदों पर कई वैज्ञानिक शोध भी हुए है। शोध से जानकारी मिली है की जब हम प्रार्थना करते है तो मन और शरीर दोनों शांत रहते है और व्यक्ति की उम्र भी बढ़ती है। तो चलिए आज जानते है और भी कई Importance Of Prayer In Hindi.
Importance Of Prayer In Hindi: प्रार्थना से तनाव और क्रोध जैसी मानसिक परेशानियों को करें दूर
स्वास्थ्य की दृष्टि से प्रार्थना (Prayer for Healing) बहुत ही फायदेमंद होता है। इससे आप भगवान के करीब तो रहते ही है साथ ही आपका तन मन भी स्वस्थ्य रहता है। आज के युग में लोगो को सुख शांति की बहुत कमी है जिसके चलते कई तरह की बीमारियाँ भी हो जाती है। साथ ही उन्हें खुद पर ध्यान देने के लिए समय भी नहीं रहता है। यदि आप कुछ ही समय के लिए प्रार्थना करते है तो इससे आपको भगवान के लिए भी थोड़ा समय मिल जाता है।
सकारात्मक ऊर्जा का संचार करे
- प्रार्थना करने से मन में सकारात्मक ऊर्जा उत्पन्न होती है, जिससे हम बीमारियों से भी दूर रहते है।
- माना जाता है की यदि मन में नकारात्मक उर्जा बनी रहेगी तो इसका असर सीधा हमारे शरीर और स्वास्थ्य पर भी पड़ता है।
- सकारात्मक ऊर्जा के होने से आप अपने दैनिक कार्यो को भी बड़ी सरलता के साथ कर सकते है
मन शांत रहता है
- प्रतिदिन प्रार्थना करने से मन स्थिर और शांत रहता है।
- इसलिए इसे करने पर हम अपने गुस्से पर भी नियंत्रण रखने में सफल हो जाते है।
- आपको बता दें की तनाव में रहने से भी गुस्सा आता है। यदि आपने क्रोध को नियंत्रित कर लिया तो आपके अंदर की आधी बीमारियाँ ऐसे ही दूर हो जाती है।
- मन शांत रहने से आप अपने रिश्तों को भी आसानी और सुखमय तरीके से पूरा कर सकते है।
आत्म-नियंत्रण में सुधार
- प्रार्थना से आत्म-नियंत्रण में भी सुधार होता है साथ ही यह संयम रखना भी सिखाती है।
- वैज्ञानिक शोधों से पता चला है कि जो लोग नियमित रूप से प्रार्थना करते हैं, वे व्यावहारिक जीवन में ज्यादा संयमित होते हैं।
- जो लोग संयम के साथ कार्य करते है उन्हें प्रसिद्धि भी मिलती है और लोग उनकी तारीफ भी करते है।
- यदि आपका आत्म नियंत्रण नियंत्रित रहता है तो आप कठिन से कठिन चुनौतियों को भी सुलझा सकते है।
व्यायाम हो जाता है
- यदि आप प्रार्थना के लिए धार्मिक स्थल तक पैदल चल कर जाते है तो इससे आपका व्यायाम भी हो जाता है।
- एक शोध के अनुसार यदि नियमित रूप से ईश्वर का ध्यान और प्रार्थना की जाये तो रक्त संचार भी अच्छे से होता है।
तनाव को दूर करे
- पूजा और संगीत व्यक्ति में बढ़ रहे तनाव का स्तर कम करता हैं।
- तनाव को खुद से दूर रखना बहुत ही ज़रूरी होता है नहीं तो यह मानव को अंदर से खोखला बना देता है और व्यक्ति रोगों से घिर जाता है।
चेहरे में चमक
- प्रार्थना करने से स्मरण शक्ति और चेहरे की चमक भी बढ़ती है।
- चेहरे में चमक आने से आपके व्यक्तित्व में भी निखार आता है।
- प्रार्थना आपको अंदर के साथ साथ बाहर से भी सुन्दर बना देती है।
एकता की भावना
- यदि प्रार्थना को सामूहिक रूप से करते है तो उससे व्यक्ति के मन में एकता के भाव में वृद्धि होती है।
- एकता के भाव के वृद्धि से अकेलापन भी दूर होता है।
- आपमें व्यवहारिकता आती है और आप बहुत से लोगो के साथ घुल-मिल जाते है।
सिरदर्द और माइग्रेन में लाभकारी
- जो लोग सिरदर्द और माइग्रेन जैसी समस्याओं से पीड़ित है उन्हें भी प्रार्थना करनी चाहिए क्योंकि प्रार्थना करने से आपके दर्द भी दूर हो जाते है।
- इसके कारण आपको सिरदर्द और माइग्रेन से भी राहत मिलती है।
- साथ ही शरीर के दर्द को सहने की शक्ति भी मिल जाती है।
संबंधों को बढ़ाए
- प्रार्थना आपके संबंधों को गहरा करती है। प्रार्थना आपके क़रीबी रिश्तों पर एक महत्वपूर्ण प्रभाव डाल सकती है।
- प्रार्थना के माध्यम से आप अपने रिश्तों में अधिक विश्वास बढ़ा सकते हैं।
- प्रार्थना करने से आप अपने जीवनसाथी के प्रति और भी ज्यादा वफादार बन जाते है।
- प्रार्थना आपके नज़दीकी रिश्तों के साथ साथ आपके दोस्त, रिश्तेदारों से भी अपने संबंधों को सुधारने में मदद करती है।
लम्बे समय तक जीने में सहायक
- शोध से यह बात भी सामने आयी है की जो लोग प्रतिदिन प्रार्थना करते है उनकी उम्र लम्बी होती है।
- ऐसा इसलिए होता है क्योंकि उनको बीमारियाँ बहुत कम होती है और वह ज्यादा दिन तक जी पाते है।
- प्रार्थना आपको शारीरिक और मानसिक दोनों रूप से स्वस्थ बनाने में मदद करती है।
बेहतर अनुभव करना
- प्रार्थना करने वाला व्यक्ति अंदर से अच्छा और बेहतर महसूस करता है।
- Benefits of Prayer के अंदर यह एक महत्वपूर्ण बात है. इसके कारण लोग हमेशा प्रसन्न रहता है।
नोएटिक थैरेपी: प्रार्थना का एक रूप: Prayer for Good Health
- नोएटिक (मंत्रों, संगीत, स्पर्श और प्रार्थना) थैरेपी एक ऐसी थैरेपी होती है जिसमें उपचार के लिए दवाई, उपकरण और सर्जरी का प्रयोग नहीं किया जाता है।
- नोएटिक थैरेपी के उपयोग से जो परिणाम सामने आये है वो इस प्रकार है की जो मरीज़ केवल दवाई लेते हैं, उनकी अपेक्षा इस थैरेपी को लेने वालो में 30 प्रतिशत ज्यादा सही होने की संभावना होती है। और इसकी खास बात यह होती है कि इसमें मरीज़ लंबे समय तक बीमार भी नहीं पड़ते है।
अब आप समझ गए होंगे की प्रार्थना में कितनी शक्ति होती है। इस लिए अपनी व्यस्त दिनचर्या में से थोड़ा सा समय प्रार्थना के लिए निकाले। आप खुद ही अनुभव करेंगे की आपको और आपके मन को कितनी प्रसन्नता मिलती है साथ ही आप इससे स्वस्थ्य भी बने रहेंगे।