Emotional Eating: तनाव में ज्यादा खाने की आदत सेहत के लिए सही नहीं

क्या यहाँ ऐसा कोई है जो कहे की उन्हें कभी तनाव नहीं होता| ऐसा होना थोड़ा सा नामुनकिन है, क्योंकि हर व्यकित को किसी ना किसी कारणवश तनाव होता है| यह सबकी दिनचर्या का हिस्सा बन गया है|

तनाव हमारे स्वास्थ्य की दृष्टि से ठीक नहीं है| इसके बावजूद भी हम इससे पीछा नहीं छुड़ा पा रहे है| तनाव होने पर हर कोई इसे दूर करने के लिए कुछ न कुछ उपाय करता है|

कुछ लोग दुखी होकर अकेले में बैठ जाते है, कुछ लोग चाय पी लेते है तो भी उन्हें अच्छा लगने लगता है| वही कुछ लोग तो इस दौरान दुसरो पर गुस्सा उतारने लगते है|

आपको जानकार आश्चर्य होगा लेकिन कुछ लोग तनाव दूर करने के लिए किचन की और रुख करते है और कुछ ना खाने लगते है| इस समस्या को इमोशनल ईटिंग कहा जाता है| स्वास्थ्य के लिहाज से Emotional Eating सही नहीं है| आपको इस परिस्तिथि से बाहर निकलना होगा|

Emotional Eating: जाने इसके कारण और इससे निजात के तरीके

Emotional Eating

क्या है तनाव में भूख लगने का कारण?

  • जब हम तनाव में होते है शरीर की एड्रेनॉल ग्रंथि से कार्टिसोल नामक हार्मोन का स्राव होता है जो की भूख बढ़ाने का जिम्मेदार होता है|
  • इस तरह भूख लगने का कारण, आपके शरीर को फिजिकल नीड के चलते लगने वाली भूख से अलग होता है|
  • यह सेहत के लिहाज से सही नहीं है और इससे निजात पाना जरूरी है। इस स्लाइडशो में हम आपको बता रहे हैं कि इस परिस्थिति से कैसे बाहर निकलें।

इस समस्या से निपटने का तरीका:-

जब आपको सचमुच भूख हो तब जरूर खाये

  1. एमोशनल ईटर्स अधिकतर वक्त जब उन्हें भूख लगती है तब नही खाते है| ऐसे में तनाव के दौरान उन्हें कुछ खाने की इच्छा ज्यादा होती है|
  2. एमोशनल ईटर्स को Stress Eater भी कहते है|
  3. इसलिए अबसे जब भी आपको भूख लगे तब खाना स्किप ना करे| और कुछ हैल्थी खाये|
  4. इस तरह से तनाव के दौरान कुछ भी खाने से आप कई हद तक बच जायेंगे|

सोचिये की आपको पूरी लाइफ बीमारी से दूर रहना है

  1. यदि तनाव के कारण आप बहुत अधिक खा रहे है, तो इसका नुकसान होना भी लाजमी है|
  2. इसलिए जब भी आप तनाव के दौरान खाने की और आकर्षित हों अपने भविष्य के बारे में सोचें।
  3. आप जानते है अधिक खाना = मोटापा = कई बीमारियों को न्योता देने का जरिया|

भोजन में अपनी खुशी ढूंढना छोड़े

  1. कुछ लोगो से यदि आप उनके खाने का कारण पूछेंगे तो उनका जवाब होता है की करने के लिए कुछ नहीं था इसलिए कुछ खा लिया|
  2. दिन भर काम से एग्जॉस्ट होने के बाद, एक बाउल आइसक्रीम मन को सुकून देती है, इससे दिमाग बिलकुल फ्रेश रहता है|
  3. लेकिन क्या आप जानते है कत्रिम मिठास और वसा हमारे ब्रेन में opioids का स्त्राव करती है| और यह तत्व कोकेन और हेरोइन में मौजूद होता है|
  4. तो भले ही चिप्स और आइसक्रीम खाना आपको बहुत सुकून देता हो, लेकिन इसकी आदत छुड़ाना, ड्रग की आदत छुड़ाने जैसा है|
  5. इसलिए इस तरह के आहार से दुरी बनाये| स्वस्थ आहार खाने पर आपको इनके जैसा सुकून नहीं मिलेगा, लेकिन आपको यह आदत डालनी ही होगी|

ऊपर आपने Emotional Eating के बारे में कई बाते जानी| उपरोक्त बताये गए तरीके से आप इस बुरी आदत से निजात पा सकते है|

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